रूबी कुमारी
सीबीएसई के 12वीं के परिणाम में दिल्ली के सरकारी स्कूलों का प्रदर्शन निजी स्कूलों से लगातार दूसरे साल बेहतर रहा। सरकारी स्कूलों का पास फीसद निजी स्कूलों से 9 फीसद ज्यादा रहा। इसके साथ ही दिल्ली के राजकीय प्रतिभा विकास विद्यालय का प्रदर्शन केंद्रीय विद्यालयों से बेहतर रहा। दिल्ली के शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि देश में सबसे अच्छा परिणाम दिल्ली के स्कूलों का है और सरकारी स्कूलों के बेहतर प्रदर्शन से लोगों के बीच इनकी गुणवत्ता पर भरोसा बढ़ेगा। राष्ट्रीय पास फीसद 82 के विपरीत दिल्ली का पास फीसद 88 है। दिल्ली सरकार के सरकारी स्कूलों का पास फीसद 88.27 रहा, वहीं निजी स्कूलों का पास फीसद इस बार 79.27 रहा। सिसोदिया ने कहा कि यह दूसरी बार है, जब सरकारी स्कूलों ने निजी स्कूलों से बेहतर प्रदर्शन किया है, पिछले साल यह अंतर 2 फीसद का था जो इस साल बढ़कर 9 फीसद हो गया, बावजूद इसके कि सरकार द्वारा नकल पर सख्ती के कारण परिणामों में गिरावट की आशंका थी। सिसोदिया ने इसके लिए सभी विद्यार्थियों, शिक्षकों और अभिभावकों को बधाई दी है। उन्होंने कहा कि साल 2016 से पहले सरकारी स्कूल, निजी स्कूल से लगातार कई साल तक पीछे रहे हैं। राजधानी सरकारी स्कूलों में भी लड़कियों ने लड़कों से बाजी मारी और उनका पास फीसद लड़कों से 10 फीसद ज्यादा रहा, जहां लड़कियों का परिणाम 92.8 फीसद रहा, वहीं लड़कों का परिणाम 82.49 फीसद रहा।
इसके साथ ही दिल्ली के प्रतिभा विकास विद्यालय का प्रदर्शन इस बार भी केंद्रीय विद्यालयों से बेहतर रहा, केंद्रीय विद्यालयों के 94.60 फीसद के मुकाबले राजकीय प्रतिभा विकास विद्यालय का परिणाम 99.70 फीसद रहा। सिसोदिया के मुताबिक 33 ऐसे विद्यार्थी ऐसे हैं, जिनकों किसी एक विष्य में 100 अंक मिले हैं, वहीं 554 स्कूलों 90 फीसद या उससे ज्यादा परिणाम आया है। दिल्ली सरकार के स्कूलों में राजकीय प्रतिभा विकास विद्यालय, यमुना विहार के विकास उपाध्याय विज्ञान में, राजकीय प्रतिभा विकास विद्यालय, शालीमार बाग के गौरव गर्ग वाणिज्य में, सर्वोदय कन्या विद्यालय नांगलोई की ज्योति कला में और सर्वोदय कन्या विद्यालय, धंसा की हर्षिता वोकेशनल में टॉपर रहे। सिसोदिया ने कहा कि सभी टॉपर का सम्मान किया जाएगा। उन्होंने कहा कि जेईई (मुख्य) परीक्षा में दिल्ली के सरकारी स्कूलों से 372 विद्यार्थियों के पास करने और सीबीएसई के इन परिणामों से लोगों का सरकारी स्कूलों पर भरोसा बढ़ेगा।