Thursday, November 28, 2024
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जिस तरह एप्पल ने दिए विवेक तिवारी के परिवार को डेथ बेनिफिट्स, जानिए उसके अलावा और कौन सी है ऐसी कंपनियां

SI News Today

Just like Apple has given death benefits to Vivek Tiwari’s family, know more about what other companies.

   

एपल के एरिया मैनेजर विवेक तिवारी की मौत को लेकर देशभर में हंगामा मचा हुआ है. उनके परिवार में बुजुर्ग माता-पिता के अलावा दो बेटियां और पत्नी हैं. परिवार ने मीडिया को बताया कि विवेक का एनुअल पैकेज करीब 75 लाख रुपए था.

वहीँ एपल अपने एम्प्लॉई की अचनाक से मौत हो जाने के बाद किस तरह का फ़ायदा देती है इस बारे में एपल में प्रोडक्ट मैनेजर रह चुके और अभी यूएस में टेक्नोलॉजिस्ट सिद्धार्थ राजहंस ने बताया कि दो तरह के इम्प्लॉई नियुक्ति किए जाते हैं..

पहले वो जो हेडक्वार्टर में सीधे कंपनी के साथ काम करते हैं वे ऑन साइड इम्प्लॉई कहलाते हैं. वहीं जो दूसरे देशों के अलग-अलग बेल्ट में काम करते हैं वे आउटसोर्स इम्प्लॉई होते हैं. बता दें, विवेक तिवारी सप्लाई चैन डिविजन में थे और आउटसोर्स इम्प्लाई थे. दोनों इम्प्लॉई के बेनिफिट्स में थोड़ा अंतर है लेकिन कंपनी दोनों का ही पूरा ख्याल रखती है. कई तरह के बेनिफिट्स इन्हें दिए जाते हैं.

अब जानिए क्या बेनिफिट्स देती है कंपनी-

यदि जॉब के वक़्त किसी इम्प्लॉई की मौत होती है तो कंपनी उसकी फाइनेंशियल, हेल्थ केयर और एजुकेशन तीनो तरह से मदद करती है.

फाइनेंशियल : किसी दुर्घटना में इम्प्लॉई की जान जाने पर कंपनी पीड़ित के परिवार को ढाई लाख डॉलर (करीब 1 करोड़ 80 लाख रुपए) तक की मदद करती है. और अगर कंपनी का काम करते ही जान गई है तो फिर तो यह मदद मिलियन में हो जाती है.

एजुकेशन : कंपनी मृतक के बच्चों का पूरा एजुकेशन देखती है. इतना ही नहीं बल्कि कंपनी ने कई इम्प्लॉई के बच्चों को पीएचडी तक की शिक्षा के लिए वित्तीय मदद की है.

कंपनी मरने वाले की पत्नी, भाई या बच्चों में से जो भी एलिजिबिलिटी पूरी करता हो उसे जॉब ऑफर करती है. वहीँ अगर इनमें से किसी के पास टेक्निकल डिग्री नहीं है तो उन्हें भी दूसरे तरह की जॉब ऑफर की जाती है.

हेल्थ :  कंपनी मरने वाले के बुजुर्ग माता-पिता की हेल्थ का खर्चा भी उठाती है.

मृतक इम्प्लाई की हेल्थ पॉलिसी को कंपनी एक्सटेंड करती है और उसके परिवार को पहले की तरह बेनिफिट मिलते रहते हैं.

अगर परिवार में माता-पिता पत्नी या फिर बच्चों को कोई भी गंभीर बीमारी होती है तो उसमें कंपनी इलाज का पूरा खर्चा उठाती है.

हालांकि जरूरी नहीं कि ये सभी बेनिफिट्स विवेक के परिवार को मिलें. किसे क्या बेनिफिट्स मिलना हैं, ये इम्प्लॉई के केस, प्रोफाइल और लोकेशन पर भी डिपेंड करता है. यहां कुछ कॉमन बातें बताई गई हैं जो कंपनी जनरली फॉलो करती है. बता दें कि शनिवार देर रात ड्यूटी पर तैनात पुलिसकर्मियों ने विवेक को गोली मार कर हत्या कर दी थी.

एप्पल के अलावा अमेज़न, माइक्रोसॉफ्ट, गूगल, फेसबुक और अलीबाबा जैसी नामी कंपनियों में काम करने वाले उनके कर्मचारियों के असामयिक मृत्यु पर उनके परिवार के भरण पोषण से लेकर शिक्षा स्वास्थ्य का पूरा खर्च उठती है.

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