दिल्ली: वरिष्ठ नेता कर्ण सिंह ने दीपिका पादुकोण की फिल्म पद्मावती को लेकर बढ़ रहे विवाद में सबसे आगे बने हुए राजपूत संगठन पर निशाना साधते हुए कहा कि सम्मान के नाम पर कोई भी व्यक्ति धमकी नहीं दे सकता या किसी के ऊपर इनाम नहीं रख सकता. सिंह (86) ने राजपूत करणी सेना को इसके बजाय विवेकपूर्ण चर्चा में शामिल होने का सुझाव दिया. इस विवाद के बारे में पूछे जाने पर उनकी तुरंत प्रतिक्रिया थी, ‘‘इस संगठन के बारे में पहले कभी नहीं सुना.’’ उन्होंने यहां यूनेस्को कार्यालय में एक कार्यक्रम से इतर पीटीआई-भाषा से कहा कि ‘‘पद्मिनी श्रद्धेय हैं और राजपूत वंश उनकी पूजा करता है.
जब मैं 60 वर्ष पहले चित्तौड़गढ़ गया था, तो मेरी मां ने एक छोटे से बक्से में उस भूमि की मिट्टी लाने के लिए कहा था ताकि वह उसकी पूजा कर सकें. उन्होंने कहा कि ‘‘लेकिन श्रद्धा का यह मतलब नहीं है कि आप धमकी दें या किसी के मारने पर इनाम का ऐलान करें.
राज्यसभा सदस्य सिंह ने कहा कि जो फिल्म से गुस्साए हैं उन्हें इस पर तर्कसंगत चर्चा करनी चाहिए, बहस करनी चाहिए और अगर सेंसर बोर्ड को लगता है कि इस फिल्म के कुछ दृश्य अवांछित हैं तो उसे किसी भी तरह का विरोध दर्ज कराने के लिए कानूनी तरीके अपनाने चाहिए.
रणवीर सिंह फिल्म के साथ
‘पद्मावती’ फिल्म पर मचे घमासान के बीच फिल्म में अलाउद्दीन खिलजी का रोल निभा रहे रणवीर सिंह ने कहा है कि वह 200% फिल्म और अपने डायरेक्टर के साथ हैं. यह दूसरी बार है जब रणवीर सिंह फिल्म और डायरेक्टर संजय लीला भंसाली के लिए समर्थन जाहिर किया है. इससे पहले एक अखबार को दिए इंटरव्यू में उन्होंने कहा था कि वह भंसाली के साथ खड़े हैं.
हालांकि रणवीर सिंह ने कहा कि यह एक बहुत ही संवेदनशील मसला है और उन्हें इस मसले पर कुछ भी न बोलने के लिए कहा गया है. जो भी ऑफिशयल स्टैंड होगा पर फिल्म के प्रोड्यूसर की तरफ से आपको पता लग जाएगा. बता दें भंसाली को इस फिल्म के लिए कई संगठनों की नाराजगी का सामना करना पड़ रहा है. इन संगठनों का आरोप है कि फिल्म में इतिहास को तोड़-मरोड़ कर पेश किया गया है.