मुंबई के अमोल यादव ने ऐसा काम कर दिखाया जो भारत के कई बड़े एंटरप्राइजेज नहीं कर पाए। दरअसल अमोल ने महज 4 करोड़ रुपए में ही अपना प्लेन बना डाला। इसके बाद इसे एक खास नाम भी दिया गया। इसका नाम है विक्टर टैंगो नरेंद्र मोदी देवेंद्र। यह काम आसान नहीं था। छह साल की कड़ी मेहनत के बाद यह प्लेन बनकर तैयार हुआ। इसके लिए उन्हें अपना घर बेचना पड़ा। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस ने उन्हें डीजीसीए का सर्टिफिकेट सौंपा।
जेट एयरवेज में डिप्टी चीफ पायलट रहे अमोल ने घर की छत पर 19 साल मेहनत करके एयरक्राफ्ट टीएसी-003 बनाया। एयरक्राफ्ट 2011 में बन गया था। तब से अमोल सर्टिफिकेट पाने की कोशिश कर रहे थे। यह सीएम के अनुराध पर था कि पीएम नरेंद्र मोदी ने खुद हस्तक्षेप किया ताकि अमोल को एविएशन रेग्युलेटर के चक्कर न लगाने पड़ें। आजादी के बाद देश में पहली बार किसी निजी विमान बनाने वाले को सर्टिफिकेट मिला है।
टीएसी-003 का वजन 1450 किलो है। यह 1500 फीट प्रति मिनट की रफ्तार से टेक ऑफ कर 13 हजार फीट की ऊंचाई तक उड़ान भर सकेगा। हवा में रफ्तार 185 मील तक होगी। यह प्लेन 6 सीटर है। इस प्लेन को 2016 में मेक इन इंडिया स्कीम के तहत लगी प्रदर्शनी मे डिस्प्ले किया गया था। प्लेन को जब किसी प्रदर्शनी में ले जाना होता था, तो इसे क्रेन से उतारना पड़ता था।