Mayawati gave Rahul Gandhi a big blow, now Mayawati-Ajit Jogi alliance in Chhattisgarh
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जहां एक ओर छत्तीसगढ़ में पिछले डेढ़ दशक से सत्तारुढ़ बीजेपी राज्य में अपनी सत्ता बचाए रखने की कोशिशों में जुटी है। तो वहीं दूसरी ओर कांग्रेस सत्ता में अपनी वापसी करने के लिए संघर्ष कर रही है। पर इसी बीच नए राजनीतिक समीकरण में मायावती ने पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी की नई पार्टी के साथ गठबंधन कर लिया है।
बता दे कि कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के विपक्षी दलों को एक साथ करने की योजना को समाप्त करते हुए मायावती ने उन्हें एक बहुत बड़ा झटका दिया है। यूपी का पूर्व मुख्यमंत्री और पार्टी सुप्रीमो मायावती ने ऐलान करते हुए कहा है कि छत्तीसगढ़ में अगर जोगी की पार्टी के साथ बसपा चुनाव लड़ेगी तो मध्य प्रदेश में उनकी पार्टी अकेले ही चुनाव लड़ सकती है। फिलहाल छत्तीसगढ़ में चुनाव जीतने की सूरत में जोगी गठबंधन सरकार के मुख्यमंत्री होंगे।
वहीं इसके पहले भी ऐसी उम्मीद लगाई जा रही थी कि बहुजन समाज पार्टी राज्य में कांग्रेस के साथ गठबंधन कर सकती है। जहां पहले वह राज्य में सभी 90 सीटों पर चुनाव लड़ने की तैयारी कर रही थी, पर राज्य के कांग्रेस अध्यक्ष भूपेश बघेल भी बसपा के साथ गठबंधन की कोशिशों में लगे हुए थे। पर मायावती ने कांग्रेस के महागठबंधन की रणनीति का खात्मा करते हुए अजीत जोगी की पार्टी जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ के साथ समझौता कर लिया। बता दे कि इस समझौते के अंतर्गत जोगी की पार्टी 55 सीटों पर और बसपा 35 सीटों पर चुनाव लड़ेगी।
आपकी जानकारी के लिए बता दे कि छत्तीसगढ़ में कुल 90 विधानसभा सीटें हैं। और राज्य में अभी कुल 11 लोकसभा व 5 राज्यसभा की सीटें हैं। जहां छत्तीसगढ़ में 27 जिले हैं वहीं राज्य विधानसभा में 51 सीट सामान्य व 10 सीट एससी और 29 सीट एसटी के लिए पहले से ही आरक्षित हैं। वहीं मायावती ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा है कि कांग्रेस ने सबसे पहले अजीत जोगी का छत्तीसगढ़ में इस्तेमाल किया और उसके बाद उन्हें छोड़ दिया। इसी के आगे ही उनका कहना था कि वो गठबंधन के खिलाफ बिल्कुल भी नहीं हैं। पर दूसरी पार्टियों को भी अपना दिल बड़ा करने की जरूरत है।
उन्होंने कहा कि मध्य प्रदेश में बसपा अकेले चुनाव लड़ेगी। पर अभी तक किसी भी पार्टी के साथ सीटों के बंटवारे को लेकर सहमति नहीं बनी है। हां वो बात और है कि गुरुवार को पार्टी ने मध्य प्रदेश के 22 सीटों से अपने उम्मीदवारों की एक सूची भी जारी कर दी थी। फिलहाल मायावती का कतहना है कि 3 राज्यों के विधानसभा चुनाव जल्द ही घोषित होंगे। पर बसपा केवल उसी पार्टी से गठबंधन करेगी जो उन्हें सम्मानजनक सीटें देगी और जो पार्टी बसपा के विचार यानी कि सर्वजन हिताय सर्वजन सुखाय की नीति पर चलेगी।
बता दे कि इस साल के आखिर में ही राज्य में विधानसभा चुनाव होना हैं। गौरतलब है कि इस बार बसपा पूरे तैयारी के साथ चुनाव मैदान में उतरने को तैयार है। और यही वो कारण है कि पार्टी प्रमुख मायावती ने सूबे की जिताऊ विधानसभा सीटों का गुप्त सर्वे कराना अभी से ही शुरू कर दिया है।