Friday, November 22, 2024
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घोटालेबाजों के हिमायती मऊ जिलापूर्ति अधिकारी का सफेद झूठ

SI News Today

The white lie of the complainant of the scamsters, The Mau District Supply Officer.

         

 

छोटी मछलियां ही फंसेंगी जाल में,
उनको तो सब भून कर खा जाएंगे।
बड़ी मछलियों का तो है समुंदर पे राज,
पकड़ने वाले जाल ही फट जाएंगे।
– डॉ. रामकृष्ण सिंगी

जी हाँ कुछ यही हाल है मऊ जिले में हुए खद्यान्न घोटाले का, लेकिन यहां पर स्थितियों में थोड़ा सा परिवतर्न यह है कि खुद मऊ जिलापूर्ती अधिकारी अपने छोटे कर्मचारियों को एक हद तक बचाने में जुटे हुए हैं जिससे उनके भी दामन पर आंच न आये। एक तरफ शिकायतकर्ता द्वारा शिकायत में यह बताया गया कि जिलापूर्ती अधिकारी के आदेश पर 21/05/2018 को उसकी दुकान को निलंबित कर दिया जाता है। लेकिन वहीं निलंबित दुकान में जिलापूर्ती अधिकारी नरेंद्र तिवारी के इशारों पर प्राइवेट कर्मचारी अजीत सिंह द्वारा बिना किसी सत्यापन के 15.06.2018 को 06 कार्ड बढ़ा कर 268 यूनिट बढ़ा दी जाती है। आपको बता दें निलम्बन से पूर्व शिकायतकर्ता की दुकान पर 272 कार्ड के साथ 1318 यूनिट दर्ज थी।

शिकायतकर्ता अनिल कुमार श्रीवास्तव के अनुसार जिलापूर्ती अधिकारी द्वारा शिकायत वापस लेने हेतु उनको लालच देते हुए उनके दुकान पर कार्ड व यूनिट बढ़ाया गया। लेकिन अनिल कुमार श्रीवास्तव द्वारा शिकायत वापस न लेने पर जिलापूर्ती अधिकारी द्वारा पुनः 21/06/2018 को निलंबित दुकान पर बिना किसी सत्यापन के 3 कार्ड बढ़ा कर 711 यूनिट पुनः घटा दी जाती है। यूनिट बढाने घटाने के खेल को 15/06/2018 और 21/06/2018 की पात्र गृहस्थी कार्ड एवम यूनिट की सूची में स्पष्ट रूप से देखा जा सकता है। इस तरह के भ्रष्टाचार के बारे में जब एक दैनिक अखबार द्वारा तारिख 13 अगस्त 2018 में जिलापूर्ती अधिकारी से इस सम्बंध में जानकारी मांगी गयी तो उनके द्वारा बताया गया कि यह भ्रष्टाचार का खेल उनके इस जिले में आने से पहले ही हुआ है और यदि कार्ड व यूनिट बढ़ी है तो 6 कार्ड पर ज्यादा से ज्यादा 60 यूनिट ही बढ़ सकती है।

भले ही जिलापूर्ती अधिकारी मऊ ने उस समाचार पत्र से साफ झूठ बोला हो लेकिन शिकायतकर्ता द्वारा प्रस्तुत शिकायत में आंकड़े बिल्कुल भी झूठ नही बोल रहे। आपको बता दें मऊ जिलापूर्ती कार्यालय में तैनात पूर्ति निरीक्षक हर्षिता राय एवँ लिपिक धीरज कुमार अग्रवाल तथा जिलापूर्ति अधिकारी के अंतर्गत काम करने वाले प्राइवेट कर्मचारी अजीत सिंह एवं चपरासी नारायण यादव के द्वारा बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार विगत कई वर्षों से किया जा रहा है जिसकी शिकायत स्थानीय भाजपा सभासद दिनेश कुमार सिंह वार्ड नं०-6 द्वारा विभाग के लगभग हर अधिकारी,व मुख्यमंत्री समेत खाद्य एवं रसद विभाग अतुल गर्ग से भी की गई है। लेकिन अभी तक किसी के भी द्वारा इस मामले में कोई संज्ञान नही लिया गया है। 15 अगस्त के राष्ट्रीय पर्व पर खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने भाषण में पूर्व में हुए खद्यान्न घोटाले का जिक्र करते हुए यह बताया कि कैसे फर्जी तरीके से अधिकारियों द्वारा झूठे आंकड़ों के बल पर सरकार के राजस्व में अरबों का चूना लगाया जा रहा था। लेकिन उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री ने लाल किले के प्राचीर से दिए गए इस संदेश से कोई सीख न लेते हुए अपने राज्य में हो रहे घोटालों की शिकायतों पर कोई भी कार्यवाही न करने का मन बना लिया है। आपको बता दें कि 21 अगस्त 2018 को मऊ जिले में खाद्य एवम रसद मंत्री अतुल गर्ग दौरे पर रहेंगे अब देखना यह है कि उत्तर प्रदेश के सबसे भ्रष्ट जिलों में से एक मऊ जिले में खाद्य रसद मंत्री को कोई खामियां नज़र आती भी हैं या नहीं।

@Pushpen40953031

 

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