हरदोई. यूपी के हरदोई जिले में एक जगह ऐसी भी है, जहां भूतों की अदालत लगती है। यहां आने वाले लोगों का दावा है कि बाबा के दरबार में हर मर्ज का इलाज होता है, फिर चाहे वो भूत-प्रेत हो या कोई शारीरिक प्रॉब्लम। कुछ तो यहां आने से भी कतराते हैं, उनका मानना है कि भूत-प्रेत उतारने की प्रक्रिया काफी डरवानी होती है।
जब बाल खोलकर पेड़ पर जा चढ़ी महिला…
– मामला हरदोई के कोतवाली शहर इलाके के टिलिया मोहल्ले का है। यहां हजरत साबिर अली की दरगाह है। दरगाह के पास एक लोहे का खंभा है। लोगों का दावा है कि खंभे को पकड़ते ही शरीर के अंदर छुपा जिन्न या प्रेत-आत्मा बाहर आ जाती है।
– दरगाह पहुंचते ही महिलाएं बाल खोले झूमती नजर आईं। एक महिला तो बाल खोलकर पेड़ के ऊपर चढ़ गई और झूमने लगी। पूछने पर लोगों ने बताया कि महिला पर बुरी आत्मा का साया है, वह अपने काबू में नहीं है। कुछ देर बाद महिला बेहोश हो गई। होश में आने पर जब उससे बात की गई तो उसने कहा- मुझे कुछ याद नहीं।
– महिलाओं के अलावा यहां पुरुषों की भी भीड़ दिखी, जो इलाज कराने आए थे। मजार पर रहने वाले संतोष कुमार ने बताया- ”बाबा के दरबार में हर मर्ज के लोग आते हैं। ज्यादातर भूत-प्रेत के सताए लोग यहां आते हैं।”
– ”जब लोग इलाज कराकर हार जाते हैं, तब यहां आते हैं और उन्हें आराम भी मिलता है। लोग खुश होकर बाबा की दरगाह पर चादर और प्रसाद चढ़ाते हैं। पीड़ित लोगों को सिर्फ बाबा पर चढ़ाया प्रसाद (भभूत) दिया जाता है। भूत-प्रेत वाले केस ठीक होने में करीब 40 दिन लग जाते हैं।”
– बता दें, वैसे तो यहां रोजाना सुबह-शाम भूतों की अदालत लगती है, लेकिन गुरुवार को दूर-दूर से आने वाले लोगों की भीड़ लगती है।
डॉक्टर्स का क्या है कहना…
– सीएमओ पी एन चतुर्वेदी का कहना है- मेडिकल साइंस में अंधविश्वास की कोई जगह नहीं है। ऐसी जगह जाने वाले लोगों में ज्यादातर मानसिक रोगी होते हैं। उन्हें खुद पर किसी अन्य के काबू होने का भ्रम हो जाता है और इसे वो भूत-प्रेत का नाम दे देते हैं।
– ऐसा जरूरी नहीं है कि ऐसी जगह जाने वाले गांव के लोग ही हों। बड़े घर के लोग भी अंधविश्वास में भरोसा करते हैं। लोग दवाई खाने के बजाय उलटे-सीधे काम करने लगते हैं और तंत्र-मंत्र करने वालों का धंधा चलता रहता है।