भीमराव अंबेडकर को लेकर सियासत जारी है. एक ओर अंबेडकर की मूर्तियां तोड़ी जा रही हैं. दूसरी तरफ अंबेडकर के नाम में पहले रामजी जुड़ा फिर उनकी मूर्तियां भगवा हो गईं. बदायूं जिले के कुंवरगांव के दुगरैया स्थित गांव में शुक्रवार की रात तोड़ी गई डॉ. अंबेडकर की नई प्रतिमा नीले रंग की जगह भगवा रंग की लगाई गई. रविवार को समाज के लोगों व पुलिस अधिकारियों की मौजूदगी में इस भगवा प्रतिमा का अनावरण किया गया.
बाबा साहेब की मूर्तियां नीले रंग के कोट में होती हैं. ये शायद पहला मौका है कि बाबा साहब गेरुआ वस्त्र धारी हो गए हैं. हालांकि इस नए रंग को देखकर न उनके विरोधी नाराज हुए, न उनके समर्थक. हां, लोग चौंके जरूर हैं. पिछले एक महीने में प्रदेश में करीब 10 से ज्यादा जगहों पर आंबेडकर की मूर्ति तोड़ने की घटना सामने आई है. हालांकि हर मामले में रिपोर्ट तो दर्ज की गई है, लेकिन अभी तक किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है. इतना ही नहीं बाबा साहेब के नाम के साथ रामजी जोड़ने को लेकर भी सियासत हुई है. एक बार फिर भगवा मूर्ति को लेकर सियासत तेज होने की पूरी संभावना है.