उत्तर प्रदेश सरकार में मंत्री ओम प्रकाश राजभार ने एक सरकारी अधिकारी को हटाने की मांग की है। वहीं राजभार ने उनकी मांग को पूरा नहीं करने पर धरने पर बैठने की धमकी भी दी है। खबर के मुताबिक, राजभार ने यह मांग प्रशासनिक अधिकारी संजय कुमार खतरी से चल रहे उनके विवाद के कारण उठाई है। खबर के मुताबिक बीते एक महीने से यह विवाद जारी है क्योंकि संजय कुमार ने राजभार से जुड़े लोगों के खिलाफ कार्रवाई के आदेश दिए थे। राजभार ने बीते शनिवार (3 जून) को धरने पर बैठने की बात कही थी। राजभार, भारतीय समाज पार्टी के लीडर हैं, जो राज्य में आदित्य नाथ सरकार के साथ साझेदारी में है। पूर्वी उत्तर प्रदेश के कई इलाकों को इस पार्टी का गढ़ माना जाता है।
वहीं संजय कुमार खतरी गाजीपुर के जिला मजिस्ट्रेट हैं। खबर के मुताबिक, राजभार के कुछ करीबी साथियों ने अधिकारियों के साथ बदसुलूकी की थी जिसके बाद ही उन्होंने लोगों के खिलाफ कार्रवाई की थी। मामले को लेकर राजभार ने कहा, “मैं प्रशासन की नाकामी को लेकर परेशान हूं। मैं राजनीति में किसी पद के लिए नहीं हूं बल्कि जनता की सेवा के लिए हूं और इसके साथ मैं समझौता नहीं होने दूंगा।” राजभार के आज इस मामले को लेकर सीएम योगी आदित्य नाथ से मिलने की उम्मीद है। उनका दावा है मामले को लेकर वह खतरी के खिलाफ मिली 19 शिकायतों की एक सूची का ब्यौरा सीएम आदित्य नाथ को देंगे। वहीं मामले को लेकर जिला मजिस्ट्रेट की तरफ से अभी तक कुछ नहीं कहा है।
बता दें राज्य में प्रशासनिक अधिकारियों के साथ भारतीय जनता पार्टी के नेताओं के बीच हुआ यह दूसरा बड़ा मामला सामने आया है। बीते शनिवार को एक महिला पुलिस अधिकारी श्रेष्ठा ठाकुर के साथ बीजेपी कार्यकर्ताओं के विवाद के चलते उनका तबादला कर दिया गया। वहीं राज्य में अभी तक 234 अफसरों का तबादला किया जा चुका है। श्रेष्ठा ठाकुर ने इस तबादले को फेसबुक अकाउंट के जरिए ‘अच्छे कामों का इनाम’ बताया।